बुद्ध के जीवन आदर्शों पर चलकर भारत देश को फिर से जगद्गुरु बनाने की जरूरत: मायावती


नई दिल्ली: बी.एस.पी. की राष्ट्रीय अध्यक्ष, पूर्व सांसद व पूर्व मुख्यमंत्री, उत्तर प्रदेश सुश्री मायावती  ने देश के कोने-कोने में व विदेशों में रहने वाले तथागत गौतम बुद्ध के समस्त अनुयाईयों को ’’बुद्ध पूर्णिमा’’ की हार्दिक बधाई व लाखों शुभकामनायें देते हुए कहा कि कोरोना वायरस महामारी के इस अति-संकटकालीन दौर में करोड़ों पीड़ितों के लिए उसी दया-करुणा, दानशीलता व इन्सानियत आदि की आज हर तरफ सख्त जरूरत दिखाई पड़ती है जिसके लिए महात्मा गौतम बुद्ध ने सबकुछ त्यागकर अपना जीवन समर्पित किया व महामानवतावादी कहलाए।
’’बुद्ध पूर्णिमा’’ के अवसर पर आज जारी एक बयान में  मायावती ने कहा कि महामानवतावादी तथागत गौतम बुद्ध, जिन्होेंने सत्य, अहिंसा, भाईचारा व मानवता की आदर्श ज्योति को पूरी दुनिया में फैलाकर भारत को विश्व में जगद्गुरु का सम्मान दिलाया, की जयन्ती पर खासकर जाति-भेद, हिंसा, हिंसक मनोवृति, द्वेष आदि को जीवन से त्यागने की प्रतिज्ञा लेने/दोहराने का दिन है, क्योंकि इसी से जीवन में सच्ची सुख-शान्ति व देश की तरक्की निहित है।
एशिया के ’’ज्योति पुंज’’ के रूप में माने जाने वाले महात्मा गौतम बुद्ध ने भारतीय इतिहास को सत्यपरक ज्ञान से सुशोभित किया तथा उनके अनुयाईयों में सम्राट चन्द्रगुप्त मौर्य व महान सम्राट अशोक ने ’’बहुजन हिताय व बहुजन सुखाय’’ को अपने संविधान के मूल सूत्र के रूप में स्थापित कर सामाजिक क्रान्ति की मजबूत नींव डाली।
ऐसे ही महामानतावादी गौतम बुद्ध की जयंती बुद्ध पूर्णिमा के रूप में मनाई जाती है। उनका अशिक्षित, उपेक्षित व शोषित वर्ग के सभी लोगों को अमर उपदेश था ’अप्प दीपो भवः’ अर्थात शिक्षित बनो, खुद ऊपर उठो व अपना प्रकाश स्वयं बनो जिसका वर्तमान में भी बहुत ही ज्यादा महत्त्व है, जिसपर अमल करकेे महान लक्ष्यों की प्राप्ति की जा सकती है, जिसके लिए हमारी पार्टी अपनी अलग पहचान के साथ लगातार प्रयास व संघर्षरत है।
वैसे भी केवल गुणगान ही नहीं बल्कि बी.एस.पी. ने ही गौतम बुद्ध के मानवीय आदर्शों पर चलकर उत्तर प्रदेश में चार बार अपनी सरकार चलाई है तथा उनके उपदेशों के आधार पर चलकर समतामूलक व्यवस्था समाज में स्थापित करने का भरसक प्रसाय किया। इतना ही नहीं बल्कि उनके नाम पर अनेकों संस्थायें व कपिलवस्तु में हवाई पट्टी स्थापित करने का काम भी बी.एस.पी. की सरकार में किया गया, जिस कारण विश्व स्तर पर उत्तर प्रदेश का मान-सम्मान बढ़ा।गौतम बुद्ध के जीवन आदर्शों पर चलकर भारत देश को फिर से जगद्गुरु बनाने की जरूरत है।


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