मानवीय जरूरतों को पूरा करना ही माहे रमजान के रोजे का मकसद है:मौलाना अरशद मदनी

 


 


नई दिल्ली:- वैश्विक महामारी कोरोना के मद्देनजर जमीयत उलेमा हिंद ने अपने सभी दानदाताओ से अपील करते हुए कहा कि उन्हें किसी भी तरह का चंदा नहीं चाहिए और सभी लोग अपने चंदे को बिना किसी धार्मिक भेदभाव के आम जनमानस की मानवीय जरूरतों पर खर्च कर दे।  मौलाना मदनी ने कहा कि आज विश्व बेहद नाजुक दौर से गुजर रहा है और यही वक्त है मानवता का हाथ थामने का, सभी को एकजुट कर इस वैश्विक महामारी के खिलाफ खड़े होने का। मौलाना मदनी ने कहा कि रमजान का पवित्र महीना चल रहा है और इस्लाम कहता है कि हमारे आसपास कोई भी भूखा ना रहे, हम सभी को अपनी सामर्थ्य अनुसार बिना किसी धार्मिक भेदभाव के लोगो की मदद करना और यही माहे रमजान के रोजे का असल मकसद है।


मौलाना मदनी ने कहा कि जमीयत सभी स्वास्थ्य निर्देशो का पालन करते हुए पहले की तरह लोककल्याण की अपनी पहचान बरकरार रखते हुए आम जनमानस की सेवा में प्रतिबद्ध है


 


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