कैट के आह्वाहन पर आज देश भर में जले रावण रूपी विदेशी ई कॉमर्स कंपनियों के पुतले

नयी दिल्ली


कॉन्फ़ेडरेशन ऑफ़ आल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) के आव्हान पर आज दशहरे के अवसर पर विदेशी ई कामर्स कंपनियों को रावण की संज्ञा देते हुए देश भर के विभिन्न राज्यों के 150 से अधिक शहरों में व्यापारिक संगठनों ने उनके पुतले जलाये और केंद्र सरकार से आग्रह किया की इन कंपनियों की मनमानी पर लगाम लगाने के लिए तुरंत आवश्यक कदम उठाये जाएँ और ई कामर्स पालिसी को तुरंत घोषित किया जाए ! हालांकि कैट इन इस दिशा में केंद्र सरकार द्वारा उठाये गए विभिन्न क़दमों की सराहना भी की किन्तु यह भी कहा की ये कंपनियां गत अनेक वर्षों से भारत की एफडीआई पालिसी के प्रावधानों का स्पष्ट उल्लंघन कर रही है लेकिन फिर भी इनके खिलाफ कोई मजबूत कार्रवाई नहीं हो रही है जो देश के व्यापारियों के लिए चिंता का विषय है !


कैट के राष्ट्रीय अध्यक्ष  बी सी भरतिया एवं राष्ट्रीय महामंत्री  प्रवीन खंडेलवाल ने कहा की रावण के अत्याचारों के कारण उसके पुतले के दहन की परंपरा सदियों से चली आ रही है लेकिन बदलते युगों के साथ साथ अत्याचार करने वालो के चेहरे बदल गए है और इस समय देश भर के व्यापारियों के हक और प्रगति का सबसे बड़ा दुश्मन तेज़ी से पनपता विदेशी ई कॉमर्स व्यापार है जिसको ई कॉमर्स कंपनियों ने अपने लाभ के लिए बेहद विकृत कर दिया है जिसको लेकर देश के व्यापारियों ने ये निर्णय लिया है कि इन लूटेरो के सामने अब घुटने नही टिकेंगे बल्कि उनको मुहतोड़ जवाब दिया जाएगा !


 बी सी भरतिया एवं श्री खंडेलवाल ने कहा की ये कंपनियां सरकार की एफडीआई नीतियों का खुला उल्लंघन करते हुए लागत से कम मूल्यों पर माल बेचकर, भारी डिस्काउंट देकर और अपने द्वारा ही बनाई गई कंपनियों के माध्यम से देश के रिटेल व्यापार में कीमतों को सीधे तौर पर प्रभावित करती हैऔर अपने पोर्टलों पर बड़ी संख्यां में चीनी सामान बेच कर देश के व्यापार में असमान प्रतिस्पर्धा का वातावरण बना चुकी हैं जिसको लेकर देश भर के व्यापारियों में बेहद रोष एवं आक्रोश है ! कैट ने केंद्रीय वाणिज्य मंत्री श्री पियूष गोयल से आग्रह किया की वर्तमान में बन रही ई कामर्स पालिसी में जहाँ नियमों एवं कानूनों के पालन के उल्लंघन पर कड़े दंड के प्रावधान हों वहीँ दूसरी ओर एक ई कामर्स रेगुलेटरी अथॉरिटी का भी गठन किया जाए ! कैट ने यह भी कहा की ई कामर्स पालिसी हर उस कपंनी पर लागू हो जो ई कामर्स व्यापार में व्यापार करती है ! ऑनलाइन व्यापार के लिए चल रही ई कॉमर्स कंपनियों के नकारात्मक पुतले को जला कर व्यापारी भारतीय व्यापार और देश की आर्थिक दशा को सकारात्मक दिशा में ले जाने का प्रयास कर रहे है जिससे देश के ई कामर्स व्यापार के विषाक्त वातावरण को स्वस्थ एवं प्रतिस्पर्धात्मक व्यापार बनाया जाये !


श्री भरतिया एवं श्री खंडेलवाल ने यह भी कहा की प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के लोकल पर वोकल एवं आत्मनिर्भर भारत आव्हान को सफल बनाने हेतु ई कामर्स व्यापार को भारतीय परिवेश के अनुसार परिवर्तित करने की दिशा में कदम उठाये जाएँ वहीँ सरकार द्वारा वर्ष 2017 में जारी एफडीआई पालिसी के प्रेस नोट नंबर 2 की पुन: समीक्षा करते हए उसके प्रावधानों को ऑफर अधिक मजबूत किया जाए तथा खास तौर पर फ़ूड व्यापार में जारी 100 प्रतिशत एफडीआई के प्रावधान को भी अधिक मजबूत बनाया जाये क्योंकि इस प्रावधान की आड़ लेकर बहुराष्ट्रीय कंपनियों पर नकेल कसी जाए !


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